बीबी रणजीत कौर बनी गुरुतेग बहादुर इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी की चेयरपर्सन।

——कुलवंत कौर -ओपन वायस

बीबी रंजीत कौर बनीं गुरु तेग बहादुर इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी की चेयरपर्सन, और अमरजीत सिंह फतेह नगर को चेयरपर्सन नियुक्त

हरमीत सिंह कालका और जगदीप सिंह काहलों ने गुरु तेग बहादुर साहिब की अलग शताब्दी मनाने पर सरना भाइयों पर तीखा हमला बोला

नई दिल्ली, 19 अगस्त: दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की सदस्य बीबी रंजीत कौर को गुरु तेग बहादुर इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी की चेयरपर्सन और अमरजीत सिंह फतेह नगर को चेयरपर्सन नियुक्त किया गया है।

उनके पदभार ग्रहण के अवसर पर आज संस्थान में एक प्रभावशाली कार्यक्रम आयोजित किया गया।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कमेटी के प्रधान सरदार हरमीत सिंह कालका और जनरल सेक्रेटरी सरदार जगदीप सिंह काहलों ने कहा कि 2021 से पहले कोरोना काल में उनकी टीम ने संगत की सेवा की और 14 महीनों तक दिल्ली के बार्डरों पर धरना दे रहे किसानों की सेवा भी की। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में भी सेवा की गई, जिसके परिणामस्वरूप 2021 के चुनावों में संगत ने उन्हें फिर से सेवा का आशीर्वाद दिया।

उन्होंने कहा कि पिछले लगभग साढ़े तीन वर्षों से संगत के सहयोग से गुरुद्वारों के साथ-साथ स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में कड़ी मेहनत से कार्य किया गया, जिसके लिए वे पूरी संगत के आभारी हैं।

सरदार कालका और सरदार काहलों ने विरोधियों पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि पिछले समय में दिल्ली की संगत के लिए बहुत कठिन समय था, जब परमजीत सिंह सरना और हरविंदर सिंह सरना के फैसलों के कारण एक ही समय पर गुरुपर्ब और संगरांद नहीं मनाए जा सके, क्योंकि इन दोनों भाइयों ने कौम में भ्रम की स्थिति पैदा की हुई थी। उन्होंने कहा कि इन दोनों भाइयों ने हमेशा दिल्ली की संगत को गुमराह किया और अकाली दल को विभाजित करने में भी सक्रिय भूमिका निभाई।

उन्होंने कहा कि इनकी पक्षपाती राजनीति के कारण ही संगत ने इन्हें सेवा से दूर कर दिया। अब ये दोनों गुरु तेग बहादुर साहिब जी का 350वां शहीदी दिवस दो अलग-अलग स्थानों पर मनाने की योजना बना रहे हैं और शिरोमणि कमेटी से अपील कर रहे हैं कि दिल्ली गुरुद्वारा कमेटी से अलग कार्यक्रम रखें, क्योंकि लाल किला पर होने वाले कार्यक्रमों में ये दोनों सरना भाई शामिल नहीं हो सकते।

उन्होंने कहा कि निजी हितों के चलते दोनों भाई कौम को बांटने में लगे हुए हैं।

दूसरी ओर, दिल्ली गुरुद्वारा कमेटी ने गुरु साहिब की यह शताब्दी बड़े स्तर पर मनाने का कार्यक्रम बनाया है, जो संगत के सहयोग से सफलतापूर्वक संपन्न किए जाएंगे।

उन्होंने बताया कि 23 अगस्त को शाम 8 बजे से रात 10:30 बजे तक गुरुद्वारा मोती बाग साहिब में कवि सम्मेलन आयोजित होगा, जिसमें गुरु साहिब की महिमा का गायन और इतिहास संगत के सामने प्रस्तुत किया जाएगा।

संगत से अपील की गई कि वे इन कार्यक्रमों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लें।

उन्होंने यह भी बताया कि लाल किले पर पांच दिवसीय कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं, जिन्हें अंतिम रूप दिया जा रहा है और कार्यक्रम फाइनल होते ही संगत के साथ साझा किए जाएंगे।

इस मौके पर बीबी रंजीत कौर और अमरजीत सिंह फतेह नगर ने सेवा सौंपने के लिए दिल्ली गुरुद्वारा कमेटी के प्रधान, जनरल सेक्रेटरी और पूरी टीम का धन्यवाद किया। उन्होंने भरोसा दिलाया कि वे इस ऐतिहासिक संस्थान की और अधिक तरक्की के लिए दिन-रात एक कर देंगे।

इस मौके पर एम.पी.एस. चड्ढा, हरविंदर सिंह के.पी., सीनियर मीत प्रधान, आत्मा सिंह लुबाना मीत प्रधान, सुरजीत सिंह जीती, सुखविंदर सिंह बब्बर, इंदरप्रीत सिंह मोंटी कोछड़, भुपिंदर सिंह गिन्नी, रमन्जोत सिंह मीता, गुरमीत सिंह भाटिया, सतविंदरपाल सिंह नागी, जसप्रीत सिंह विक्की मान, दलजीत सिंह सरना, मनजीत सिंह औलख, सुखदेव सिंह रिआड़, तरलोचन सिंह, हरजीत सिंह पप्पा, और बलविंदर सिंह आदि हस्तियाँ भी मौजूद थीं।

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